केपीपीएन संवाददाता उमर फारूक कुशीनगर
फाजिनगर में प्राथमिक विद्यालय कोटवा क्षेत्र फाजिलनगर में चल रहे तीन दिवसीय युवा भारत योग शिविर के समापन पर शहीद दिवस पर भगत सिंह राजगुरु शुकेदेव द्वारा दी गई बलिदानों को बताते हुए योगाचार्य धर्मेंद्र प्रजापति जी द्वारा उपस्थित ग्रामवासियों को योगाभ्यास के साथ साथ कठिन योग आसन भी कराया गया जिसमें योगाचार्य जी ने महर्षि पतंजलि द्वारा दिये गए अष्ठांग योग को बताते हुए स्वर विज्ञान के रहस्यों को भी बताये उन्होंने कहा कि योग से सिर्फ हम अपने दुख रूपी व्याधि व रोगों का क्योंर नहीं करते बल्कि आत्मा से परमात्मा का मिलन भी करते है इसके लिए निरंतर त्तपरता से प्रातः सायं काल कोलाहल से हटकर शान्त वातारण में नदी तालाब वन उपवन के स्थानों के किनारों पर अष्टांग योग के बहिरंग जैसे- यम, नियम,आसन,प्राणायाम,प्रत्याहार तथा अंतरंग धारणा, ध्यान, समाधि का पालन करना चाहिए।कार्यक्रम में प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय जोकवा के संचालक ब्रह्मकुमार कृष्णा भाई जी ने आत्मा का परिचय देते हुए परमात्मा के गुणों को भी बताते हुए सभी को आध्यत्म से जोड़े।योग समापन पर योग कार्यक्रम कराने वाले आयोजक नित्यानंद वर्मा, सुनील कुशवाहा, विकास जी, दीपक जी, आँचल जी तथा अमित टेंट हाउस द्वारा सभी ग्रामवासियों को बैठाने के लिए मैट और मंच का निःशुल्क योगदान प्राप्त हुआ योगाचार्य जी सभी सह्योगिकर्ताओ को विशेष धन्यवाद अर्पित कर समानित किए।
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