इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नगर पंचायत करारी कौशांबी के रिटायर्ड सचिव का पेंशन, ग्रेच्युटी, अवकाश नकदीकरण और सामूहिक बीमा आदि का भुगतान रोकने पर राज्य सरकार पर 10,000 रूपये का हर्जाना लगाया है. याची को 1 महीने के भीतर पेंशन और अन्य भुगतान 9 प्रतिशत ब्याज के साथ करने का निर्देश दिया है. कोर्ट ने कहा है कि यदि 1 माह के भीतर भुगतान नहीं किया जाता है तो 18 प्रतिशत वार्षिक ब्याज की दर से भुगतान करना होगा. रिटायर्ड सचिव अनीस अहमद की याचिका पर जस्टिस जेजे मुनीर ने यह आदेश दिया.
याची का कहना था वह नगर पंचायत झूंसी, करारी, खागा आदि कई स्थानों पर नियुक्ति रहा. रिटायर नगर पंचायत करारी से हुआ. सेवा काल में उसके खिलाफ राजनीतिक कारणों से की गई शिकायत के आधार पर जांच बैठाई गई. इसमें निदेशक स्थानीय निकाय ने उसके पेंशन में 2 प्रतिशत की कटौती का आदेश दिया. इस आदेश की पुष्टि अभी लोक सेवा आयोग द्वारा होनी है. निदेशक के आदेश के परिपेक्ष्य में याची का 10 प्रतिशत पेंशन, 10 प्रतिशत ग्रेच्युटी और 300 दिनों का अवकाश नकदीकरण व ग्रुप इंश्योरेंस का भुगतान रोक दिया गया है.
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